Jeevan Dharm

Jeevan-dharm is about our daily life routine, society, culture, entertainment, lifestyle.

Saturday 2 September 2017

शराब छुड़ाने के अचूक टोटके, Sharab Chudane ke achuk Totke

No comments :
शराब छुड़ाने के अचूक टोटके
Sharab Chudane ke achuk Totke


शनिवार के दिन शाम के समय शराब की एक पूरी बोतल या आधी बोतल लेकर उस शराब में 800 ग्राम सरसों के तेल मिलाकर उसे किसी बड़ी बोतल मे भर कर उसे अच्छी तरह से बंद कर दें l फिर उसे शराबी व्यक्ति के उपर से 21 बार उतारकर चुपचाप बिना किसी से बोले किसी बहती हुई नदी, या नहर के किनारे उस बोतल को उलटी करके गाड़ दे l कुछ ही दिनों मे उस व्यक्ति की शराब छुट जायेगी l जब आपका कार्य पूरा हो जाये तब आप किसी भी हनुमान मंदिर में प्रशाद अवश्य ही चढ़ा दें ।

यदि कोई व्यक्ति बहुत ज्यादा शराब पीता है तो उसकी पत्नी मंगल या शनिवार को चरखा चलाए और मन ही मन में बजरंग बलि से अपने पति की शराब की आदत छुड़वाने की प्रार्थना करें ।।

यदि कोई व्यक्ति बहुत ज्यादा शराब पीता है और उसके घर वाले चाहते है कि उसकी शराब छूट जाये तो उसकी पत्नी बिलकुल चुपचाप अपने पैरों के बिछुए को पानी से धो ले फिर पति की शराब की बोतल में से थोड़ी सी शराब किसी शीशी में लेकर उसमें अपने बिच्छुए डाल दे, यह बात वह किसी को भी नहीं बताये। फिर एक दो दिन के बाद उस शराब से अपना बिछुआ निकाल कर उस शराब को दूसरी किसी शराब की बोतल में डाल दें। ऐसा पांच मंगलवार या शनिवार करने से पति शराब से तौबा करने लगेगा ।

एक अन्य उपाय भी आजमा सकते है । शुक्ल पक्ष के पहले शनिवार को सुबह सवा मीटर काला कपड़ा तथा सवा मीटर नीला कपड़ा लेकर इन्हे एक-दूसरे के ऊपर रखकर इसके उपर 800 ग्राम कच्चे कोयले, 800 ग्राम काली साबूत उड़द, 800 ग्राम जौ एवं काले तिल, 8 बड़ी कीलें तथा 8 सिक्के रखकर उसकी एक पोटली बांध लें। फिर जिस व्यक्ति की शराब छुड़वाना है उसकी लंबाई से आठ गुना अधिक लम्बा काला धागा लेकर उसे एक जटा वाले नारियल पर लपेट दें ।

* इस नारियल के ऊपर काजल का तिलक लगाकर उसे धूप-दीप अर्पित करके उस व्यक्ति की शराब पीने की आदत छुड़ाने की प्रार्थना करें। उसके बाद यह सारी सामग्री किसी बहती हुई नदी में प्रवाहित कर दें। फिर उसे प्रणाम करके घर वापस आ जाएं पीछे मुड़कर बिलकुल भी न देखें। घर के अंदर प्रवेश करने से पहले अपने हाथ-पैर जरूर धो लें । उसके बाद शाम को किसी पीपल के वृक्ष के नीचे जाकर तिल के तेल का दीपक लगाएं। इसे आने वाले बुधवार व शनिवार को एक बार फिर से दोहराएं। यह उपाय बिलकुल चुपचाप करें इसके बारे में किसी को भी नहीं बताएं । कुछ ही समय में अवश्य ही शराब का आदि व्यक्ति शराब छोड़ देगा ।

जो व्यक्ति अधिक शराब पीता है तो उसके घर का कोई भी सदस्य सात बताशे लेकर उन बताशों में सरसों के तेल की तीन-चार बूंदे डालकर फिर उन बताशे को हाथ से मसलकर चुपचाप घर से बाहर कहीं दूर ले जाकर फेंक दें। ऐसा 11 दिन लगातार करने से शराबी की शराब पीने की लत अवश्य ही छूट जाती है ।

एक प्रचलित टोटका है ……………जंगली कौवे के पंख को पानी में हिलाकर शराबी को 7 दिन तक पंख वाला पानी पिलाने से बड़े से बड़ा शराबी भी शराब की लत को छोड़ देता है ।

हमें उम्मीद है कि उपरोक्त बताये हुए उपायों / टोटको से आपको अपनी या किसी भी व्यक्ति की शराब की आदत को छुड़वाने में निश्चित रूप से सफलता प्राप्त होगी ।

शराब छुड़ाने का एक और अचूक उपाय, Sharab se chutkara pane ke upay

No comments :

 शराब छुड़ाने का एक और अचूक उपाय


अगर कोई व्यक्ति शराब छोड़ना चाहता है तो उस व्यक्ति को जब भी शराब पीने की इच्छा हो तब किशमिश का 1 -2 दाना मुंह में डालकर चूसें इसके आलावा वह किशमिश का शरबत का भी सेवन करें ।

शराब की आदत छुड़ाने के लिए खजूर बहुत अधिक सहायता देता है। इसके लिए पानी में कुछ खजूर घिसें फिर दिन में दो - तीन बार इस मिश्रण का सेवन करें। इससे शीघ्र ही शराब की आदत छूट जायगी ।

गाजर के जूस से शराब पीने की इच्छा कम होती जाती है । दिन में एक गिलास गाजर का जूस अवश्य ही पीये यह शराब को छोड़ने में बहुत सहायक होता है इससे नेत्रों की रौशनी बढ़ती है और पाचन तंत्र में भी सुधार होता है।

एक और आजमाया हुआ उपाय है शिमला मिर्च (कैप्सिकम ) लेकर जूसर से उसका रस निकाल लीजिए । इस रस का सेवन दिन में दो बार आधा आधा कप भोजन के बाद करें । इस अचूक उपाय से शराब की तलब अपने आप घटने लगती है और फिर जल्द ही पूरी तरह से समाप्त हो जाती है ।

शराब छुड़ाने का एक और अचूक उपाय है । आप सोने-चांदी का काम करने वाले सुनार के पास से सल्फ़्युरिक एसिड यानि शुद्ध गंधक का तेज़ाब ले आइए और जिसकी शराब छुड़वानी हो उसके शराब के पैग में चुपचाप इस तेज़ाब की चार बूंद डाल दीजिए। फिर उसे पीने दीजिये। ऐसा कुछ समय तक लगातार कीजिये । कुछ ही दिन में आपको यह महसूस होगा कि शराबी व्यक्ति की शराब पीने की इच्छा स्वत: ही अपने आप ही कम होने लगी है । उसे शराब के प्रति अरुचि होने लगेगी । लेकिन इस बात का ध्यान रहे कि व्यक्ति को इस दौरान स्वास्थ्यवर्धक आहार अवश्य ही दें ।

शराब पीने वाले लोगो के शरीर मे सल्फर (SULPHUR) की बहुत ज्यादा कमी हो जाती है उसके लिए किसी भी होम्योपैथिक की दुकान से SULPHUR 200 खरीद कर इसका प्रयोग करे ये बहुत ही आसानी से शराब की लत को छुडा देता है। इसकी एक बूंद सुबह खाली पेट जीभ पर दाल लीजिये फिर आधे घंटे तक कुछ भी नहीं खाएं । ऐसा लगातार 5-6 दिन तक करें । इसके बाद हफ्ते में 2-3 बार इसे लेते रहे, लगातार डेढ़ से दो महीने तक ऐसे ही लेते रहने से बड़े बड़े पियक्कड की भी शराब की लत छूट जाती है ।

तंबाकू, गुटका,बीड़ी, सिगरेट आदि नशा करने वालो के शरीर में फास्फोरस (PHOSPHORUS) तत्व की कमी हो जाती है उसके लिए PHOSPHORUS 200 का ऐसे ही प्रयोग करे।इसके प्रयोग से तंबाकू, गुटका,बीड़ी, सिगरेट आदि सभी नशे की आदत अवश्य ही छूट जाती है।

500 ग्राम देसी अजवाइन को पीसकर उसे 7 - 8 लीटर पानी में दो दिन के लिए भिगो दें। फिर उसे धीमी आंच पर इतना पकाएं कि वह पानी लगभग 2 लीटर रह जाए। इस पानी को ठंडा होने पर छान कर किसी साफ बोतल में भर दें। अब जब भी आपकी शराब पीने की इच्छा हो आप इसे 5 - 5 चम्मच पियें । इसके सेवन में कुछ ही दिनों में शराब पीने कि आदत ख़त्म हो जाती है ।

शराब से कैसे छुटकारा पाएं ( Sharab Se kaise chutkara payen ),

No comments :

शराब का नशा ( sharab ka nasha ) बहुत ही घातक माना जाता है । एक अनुमान के अनुसार शराब के नशे के कारण हर साल लगभग 40 लाख से ज्यादा लोगों की जान जाती है । एड्स, टीबी और हिंसा के शिकार व्यक्तियों को मिलाकर देखा जाए, तो भी शराब की चपेट में आकर जान खोने वाले लोग कहीं ज्यादा हैं ।
विश्व भर में हर 18 मौतों में एक मौत शराब की वजह से ही होती है। सड़क दुर्घटनाओं में भी सबसे ज्यादा मौतें शराब के नशे में गाड़ी चलाने से ही होती है। विश्व स्वास्थ्य संगठन डब्ल्यूएचओ के आंकड़ों के अनुसार शराब की वजह से हर 10 सेकेंड पर एक व्यक्ति की मौत होती है। विश्व भर में मरने वाले लोगों में से करीब 6 प्रतिशत आल्कोहल की वजह से मरते है ।

वैज्ञानिको के अनुसार लगभग 200 से ज्यादा बीमारियाँ शराब के कारण ही होती हैं । शराब से आपको लिवर का कैंसर या लिवर सिरोसिस होने का खतरा भी किसी दूसरे के मुकाबले 10 गुना ज्यादा होता है । इसके अतिरिक्त निमोनिया, एड्स, टीबी और नपुंसक होने का खतरा भी शराब की वजह से बढ़ता है। शराब हमारी यादाश्त पर भी बुरा प्रभाव डालता है। शराब पीने से नेत्रों की ज्योति भी कमजोर होती है।

शराब स्त्रियों के लिए तो बहुत ही ज्यादा खतरनाक है । इससे उनकी प्रजनन क्षमता प्रभावित होती है। उनकी होने वाली संतानो पर इसका बहुत ही दुषप्रभाव पड़ता है। वह कमजोर, मानसिक रूप से दुर्बल और विकलांग तक पैदा हो सकती है । शराब की वजह से महिलाओं में कोलन (मलाशय) और ब्रेस्ट कैंसर का खतरा भी बहुत बढ़ जाता है।

इसके अतिरिक्त शराब की वजह से तमाम बुराइयों को भी बढ़ावा मिलता है क्योंकि शराब पीने के बाद व्यक्ति को किसी भी चीज़ का होश नहीं रहता है । वह सही और गलत का फैसला नहीं कर पाता है ।
शराब के नशे की वजह से घरेलू हिंसा, बलात्कार, मारपीट और आत्महत्या जैसे मामले बहुत ज्यादा बढ़ जाते है । जो लोग सक्षम नहीं है उनकी इस आदत की वजह से परिवार को बहुत ज्यादा आर्थिक दिक्कतों का भी सामना करना पड़ता है । उसके पत्नी बच्चो और परिवार के अन्य सदस्यों की बहुत सी आवश्यकतायें भी पूरी नहीं हो पाती है। इसलिए आल्कोहल के इस बुरे असर से आम लोगों को बचाने की बहुत ही जरूरत है।
हम यहाँ पर आपको कुछ ऐसे शराब छुड़ाने के आसान उपाय / शराब छुड़ाने के टोटके ( Sharab Chudane ke totke ) बता रहे है जिससे निश्चय ही किसी भी व्यक्ति की शराब की आदत छूट जाएगी ।


जो लोग शराब छोड़ना चाहते है उन्हें सुबह शाम सेब का रस पीना चाहिए और भोजन के साथ सेब का सेवन करने से भी शराब कि आदत छुट जाती है !
इसके अतिरिक्त यदि उबले हुए सेबों को दिन में तीन बार खिलाया जाए, तो भी कुछ ही दिनों में शराब पीने की आदत से छुटकारा मिल जाता है!


होम्योपैथिक दवा SPIRTAS GLANDIUM QUERCUS शराब छुड़ाने में बड़ी कारगर सिद्द होती है । यह होम्योपैथिक दवा एक लीटर में बारह बूंद मिला कर रख लें, इस शराब सेवन करने से शराबी अरुचि सी होने लगेगी और वह दो तीन महीने में खुद ही शराब पीना बंद कर देंगे।
यह ध्यान दें की जब इस दवा के बाद शराबी की आदत छूट जाती है तो उसे दो माह तक सुबह शाम दो-दो चम्मच गुलकन्द अवश्य खिलाएं हैं और इसके पंद्रह बीस मिनट बा्द दो चम्मच अश्वगंधारिष्ट पानी के साथ दें । इससे खोया स्वास्थ्य वापस आ जाता है, कमजोरी दूर होती है ।



नींबू में विटामिन सी भरपूर मात्रा में पाया जाता है।निम्बू हमारे शरीर में नेचुरल तरीके से डिटॉक्स करने और प्रतिरक्षा प्रणाली को बढ़ाने का काम है। नशे की आदत से छुटकारा पाने के लिए नित्य सुबह 3 से 4 ताजे नींबू का रस निकालकर गुनगुने पानी में मिलाकर खाली पेट सेवन करें।
इसके सेवन से शरीर के विषाक्त पदार्थ, अतिरिक्त चर्बी प्रभावी रूप से दूर होती हैं, एवं नशा करने की तलब भी नहीं होती है।


पथरी से छुटकारा pathri se chutkara

No comments :



 पथरी ( Pathri ) होने पर एपल साइडर विनिगर ( सेब का सिरका ) का प्रयोग करें | इससे खुलकर पेशाब होता है और यह बहुत ही जल्दी पथरी को गला कर ( pathri ko gala kar ) बाहर निकाल देता है|
दो बड़े चम्मच एपल साइडर विनिगर , एक छोटी चम्मच शहद को एक कप गर्म पानी में मिलाकर दिन में दो तीन बार ले | इससे 15 से 20 दिनों में ही पथरी से छुटकारा ( pathri se chutkara ) मिल जाता है |

 नारियल का पानी पीने से पथरी ( pathri ) में फायदा होता है। पथरी होने पर नारियल का प्रतिदिन पानी पीना चाहिए।

 करेला वैसे तो बहुत कड़वा होता है परन्‍तु पथरी में रामबाण ( pathri me ramban ) की तरह काम करता है। करेले में मैग्‍नीशियम और फॉस्‍फोरस नामक तत्‍व होते हैं, जो पथरी को बनने से रोकते हैं।
पथरी होने पर दो छोटे चम्मच करेले के रस को सुबह शाम 8-10 दिन पियें इससे महीन महीन कणो में पथरी ( pathri ) टूटकर पेशाब के द्वारा बाहर निकल जाती है |

पथरी होने पर अजवाइन का अधिक से अधिक प्रयोग करें | अजवाइन के सेवन से दोहरा लाभ मिलता है, इससे पेशाब अधिक आता है और अजवाइन पथरी के कारणों को समाप्त करती है अर्थात इसके सेवन से पथरी दोबारा नहीं बनती है | प्रतिदिन प्रात: एक चम्मच अजवाइन को गर्म पानी के साथ लें | इससे एक माह में ही पथरी से छुटकारा ( pathri se chutkara ) मिलता है |

15 दाने बडी इलायची के एक चम्मच, खरबूजे के बीज की गिरी और दो चम्मच मिश्री, एक कप पानी में मिलाकर सुबह-शाम दो बार पीने से पथरी निकल जाती है।

अंगूर में एल्ब्यूमिन और सोडियम क्लोराइड बहुत ही कम मात्रा में होता हैं, इसलिए किडनी में स्‍टोन के उपचार के लिए अंगूर को बहुत ही उत्तम माना जाता है। चूँकि इनमें पोटेशियम नमक और पानी भरपूर मात्रा में होते है इसलिए अंगूर प्राकृतिक मूत्रवर्धक के रूप में भी उत्कृष्ट रूप में कार्य करता है।

 पका हुआ जामुन पथरी से निजात दिलाने में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। पथरी होने पर पका हुआ जामुन खाना चाहिए।

 किडनी में स्‍टोन को निकालने में बथुए का साग भी बहुत ही कारगर होता है। इसके लिए आप आधा किलो बथुए के साग को उबाल कर छान लें। अब इस पानी में जरा सी काली मिर्च, जीरा और हल्‍का सा सेंधा नमक मिलाकर, दिन में चार बार पीने से शीघ्र ही फायदा होता है।

आंवला पथरी में बहुत फायदा करता है। नित्य प्रातः अवाले का चूर्ण मूली के साथ खाने से मूत्राशय की पथरी निकल जाती है।

 प्याज में गुर्दे की पथरी के इलाज के लिए औषधीय गुण पाए जाते हैं। इसका प्रयोग से हम किडनी में स्‍टोन से निजात पा सकते है। लगभग 70 ग्राम प्‍याज को पीसकर और उसका रस निकाल कर पियें। सुबह, शाम खाली पेट प्‍याज के रस का नियमित सेवन करने से पथरी छोटे-छोटे टुकडे होकर निकल जाती है।

 पथरी ( pathri ) में पथरचट्टा के पत्ते अत्यंत लाभदायक है | पथरी होने पर सुबह शाम 4-5 पथरचट्टे के पत्तो को साफ करके चबा चबा कर खाएं एवं इनका रस निकाल कर पियें | इससे किसी भी तरह की पथरी गल कर निकल जाती है |

 पथरी ( pathri ) में पथरचट्टा के पत्ते अत्यंत लाभदायक है | पथरी होने पर सुबह शाम 4-5 पथरचट्टे के पत्तो को साफ करके चबा चबा कर खाएं एवं इनका रस निकाल कर पियें | इससे किसी भी तरह की पथरी गल कर निकल जाती है |

पथरी के देसी नुस्खे

No comments :
पथरी के देसी नुस्खे


वर्तमान समय में पथरी की समस्या ( pathri Ki Samasya ) बहुत ही विकराल होती जा रही है। महिलाओं की अपेक्षा पुरुषो में पथरी ( pathri ) की परेशानी ज्यादा होती है ।
आयुर्वेद में किडनी में स्टोन ( Kidney me Stone ) के इलाज में कुलथी को बहुत लाभदायक माना गया है। गुर्दे की पथरी ( gurde ki pathri ) और गॉल ब्लैडर की पथरी ( Gall bladder ki pathri ) पित्‍ताशय की पथरी ( Pittashay ki pathri ) लिए कुल्थी अत्यंत फायदेमंद औषधि है।


कुलथी उड़द के समान होती है। यह देखने में लाल रंग की होती है, इसका सूप या इसकी दाल बना कर पथरी के रोगी को दी जाती है। कुल्थी में पथरी एवं शर्करानाशक गुण होते है। कुल्थी ना केवल वात एवं कफ का शमन करती है वरन उनको शरीर में संचय भी नहीं होने देती है। कुल्थी के नित्य सेवन से पथरी गल कर निकल जाती है ।

आयुर्वेद में कुल्थी को पथरीनाशक बताया गया है। कुलथी में विटामिन ए होता है, यह शरीर में विटामिन ए की पूर्ति करके पथरी को रोकने में मदद करती है । और यह पथरी बनने की कारण को भी समाप्त करती है, जिससे पथरी दोबारा नहीं बनती है। कुल्थी के सेवन से पथरी छोटे छोटे टुकड़ो में टूट जाती है , कुल्थी मूत्र की मात्रा और वेग बढ़ाती है जिससे पथरी पेशाब के द्वारा शरीर से आसानी से बाहर चली जाती है । इसके सेवन से मोटापा भी दूर होता है।

250 ग्राम कुल्थी को अच्छी तरह से साफ कर लें, इसमें किसी भी तरह का कंकड़-पत्थर निकाल लें। फिर इसे रात में लगभग तीन लीटर पानी में भिगो कर ढक कर रख दें। प्रात: भीगी हुई कुल्थी को उसी पानी में धीमी आग पर चार घंटे तक पकाते रहे। फिर जब यह तीन लीटर की जगह एक लीटर पानी ही रह जाए तब इसे पकाना बंद कर दें। इसके पश्चात चालीस -पचास ग्राम देशी घी में सेंधा नमक, काली मिर्च, हल्दी, जीरा आदि डाल कर इसका छौंक लगाए। अब पथरी की रामबाण दवा तैयार है।

आप इस सूप को दिन में दोपहर के भोजन के स्थान पर पी जाएं ( इसका सूप काले चनों के सूप की तरह ही लगता है।) या कम से कम 250 ग्राम पानी अवश्य पिएं। अगर 250 ग्राम पियें तो इसे दिन में दो बार पियें ।

इसके नियमित सेवन से दो सप्ताह में ही बिना ऑपरेशन के गुर्दे तथा मूत्राशय की पथरी गल कर बाहर निकल जाती है, और दोबारा कभी नहीं बनती है।

यदि दोपहर का भोजन आवश्यक लगे तो इस सूप के साथ एक रोटी लें , या मुंग की दाल के साथ इस सूप के एक घंटे बाद खाना खा सकते है।

कुल्थी की दाल को अन्य दालो की तरह ही पका कर प्रतिदिन रोटी के साथ खाने से भी पेशाब के रास्ते से पथरी टूट कर निकल जाती है।

पथरी का इलाज !

No comments :
1.
पथरी के लिए एक बहुत ही आजमाया हुआ उपाय है जो पुराने समय से चला आ रहा है |
नित्य प्रात: दो चम्मच प्याज के रस को पिसी मिश्री के साथ मिलाकर पीने से केवल 20-25 दिन में ही पथरी गल कर निकल जाती है|


2.
स्नेहा ही पथरी में सहजन बहुत उपयोगी है |
आप पथरी में 25 ग्राम सहजन की जड़ की छाल को लगभग 250 ग्राम पानी में उबालें फिर छान लें । फिर इसे थोड़ा गर्म रहने पर ही अपनी माता जी को पिलायें । इसको पीने से कैसी भी पथरी हो, वह कट के गल के 20-25 दिनों में ही निकल जाती है ।
 

3.
एक पानी से भरा गिलास में दो चम्‍मच मेथी दाना डाल कर उसे रात में भिगो दें। सुबह इस पानी को छानकर खाली पेट पी जाएं और उन मेथी के दानो को चबा चबा कर खा लें | रात भर पानी में मेथी भिगोने से पानी में एंटी इंफ्लेमेटरी और एंटी ऑक्‍सीडेंट गुण बढ जाते हैं।
इसका एक महीने तक नित्य सेवन करने से शरीर की पथरी गल कर निकल जाती है और पथरी होने के कारणों पर प्रहार होता है अर्थात भविष्य में पथरी बनने नहीं पाती है |


4.  6 ग्राम पपीते की जड़ पीस कर इसे 50 ग्राम पानी में अच्छी तरह से घोल कर साफ़ कपडे से छान ले और पथरी के मरीज़ को पीला दे।
इस घोल को लगातार 21 दिन तक रोगी को पिलाने से पथरी गल कर पेशाब के रास्ते बाहर निकल जाती है।
admin memorymuseum.net 

5.
पथरी के मरीज़ो के लिए तरबूज़ की गिरी ( मिंगी ) रामबाण का काम करती है । तरबूज के बीजों का छिलका निकालकर सुबह सुबह उसकी 15 ग्राम गिरी को सिलबट्टे पर थोड़े से पानी के साथ अच्छी तरह से पीस / घोट लें फिर इसमें आधा लीटर पानी मिलाकर थोड़ी सी पिसी हुई मिश्री भी मिलाएं जिससे इसका स्वाद मीठा हो जाये फिर खाली पेट ही इसे धीरे धीरे पी लें ।

इस उपाय को सुबह शाम दोनों समय लगभग 11 दिन करें । इससे गुर्दे और मूत्राशय की पथरी आसानी से गल कर निकल जाती है , ह्रदय को बल मिलता है , ह्रदय के रोगों में भी लाभ मिलता है । यह बहुत ही आसान, परीक्षित, और बहुत कम खर्चे का इलाज है ।


6.
लगातार 15 दिन तक दिन में दो बार 100 ग्राम चुकंदर का जूस और 100 गाजर का जूस ( एक बार में 200 ग्राम ) बराबर मात्रा में मिलाकर पीने से गाल ब्लाडर और किडनी दोनों ही जगह की पथरी नष्ट हो जाती है ।
इसको लेने के बाद एक घंटे तक कुछ भी ना लेंवे ।


7.
गॉल ब्लैडर अर्थात पित्त की थैली में पथरी को दूर करने के लिए सुबह खाली पेट पचास मिली लीटर नींबू का रस पिएं इससे 10 से 12 दिन में ही आराम मिलता है,गॉल ब्लैडर की पथरी गलने लगती है ।
 

8.
कई लोगो को पथरी का ऑपरेशन कराने के बाद भी पथरी हो जाती है, या आपको पथरी नहीं है और आप चाहते है कि आपको कभी ना हो तो आप होमियोपेथी दवा है CHINA 1000 की दो-दो बूंद सीधे जीभ पर एक ही दिन 3 बार सुबह-दोपहर-शाम डाल दीजिए |
यह दवा इतनी कारगर है की फिर जीवन मे कभी भी स्टोन नहीं बनेगा।
 

9.
पथरी की होमियोपेथी मे एक अचूक दवा है, उसका नाम हे BERBERIS VULGARIS ये MOTHER TINCHER है । यह दवा होमियोपेथी की दुकान से ले आएं, इस दवा की 10-15 बूंदों को एक चौथाई कप गनगुने पानी मे मिलाकर सुबह,दोपहर,शाम और रात अर्थात दिन में 4 बार लें । इसको लगातार डेढ़ महीने तक लेना है ,दो महीने भी लग जाते है |
इससे कही भी स्टोन हो चने हो गोलब्लेडर मे हो या फिर किडनी मे हो, या फिर मुत्रपिंड मे , यह दवा सभी स्टोन को पिघलाकर निकाल देती है ।
आप दो महीने बाद चैक करवा लीजिए आपको पता चल जायेगा कि पथरी पूर्णतया ख़त्म हो गयी है अथवा उसका कुछ अंश बचा भी है। यह दवा का साइड इफेक्ट नहीं है | यही दवा से पित की पथरी gallbladder stones भी ठीक कर देती है ।

10.
गलबलेडर की पथरी का अचूक उपाय :-
गलबलेडर अर्थात पित्त की पथरी में नित्य पाँच दिन तक दिन में चार गिलास सेब का ताजा निकाला हुआ जूस पियें और 5, 6 सेब भी खाएं । छठवें दिन रात में भोजन ना करें वरन शाम को एक गिलास गर्म पानी में एक चम्मच सेंधा नमक लें , उसके दो घंटे बाद पुन: एक गिलास गर्म पानी में एक चम्मच सेंधा नमक लें , उसके और दो घंटे बाद रात को सोने से पहले आधा कप जैतून या तिल के तेल का आधे कप नींबू के रस में अच्छी तरह से मिला कर सेवन करें , पथरी अवश्य ही निकल जाएगी , प्रात: शौच में आपको हरे रंग की पथरी नज़र आ जाएगी ।


11.
पथरी का होमियोपेथी इलाज !
______________

होमियोपेथी मे किसी भी होमियोपेथी के दुकान पर BERBERIS VULGARIS की देव का MOTHER TINCHER ! लेना है ये उसकी पोटेंसी हे|
अब इस दवा की 10-15 बूंदों को एक चौथाई (1/ 4) कप गुनगुने पानी मे मिलाकर दिन मे कम से कम तीन बार और अधिक से अधिक चार बार (सुबह,दोपहर,शाम और रात) लेना है । इसको लगातार एक से डेढ़ महीने तक लेते रहने से जितनी भी कही भी हो गोलब्लेडर ( gall bladder ) ,किडनी या फिर मुत्रपिंड मे हो यह दवा उन सभी पथरी को गलाकर निकल देती है ।
99% केस मे डेढ़ से दो महीने मे ही सब टूट कर निकाल देता हे कभी कभी हो सकता हे तीन महीने भी हो सकता हे लेना पड़े। तो आप दो महीने बाद सोनोग्राफी करवा लीजिए आपको पता चल जायेगा कितना टूट गया है कितना रह गया है | अगर रह गया हहै तो थोड़े दिन और ले लीजिए । यह दवा का साइड इफेक्ट नहीं है |
पथरी दोबारा भविष्य मे ना बने उसके लिए एक और होमियोपेथी दवा CHINA 1000 का उपयोग करें । इस दवा की एक ही दिन सुबह-दोपहर-शाम मे दो-दो बूंद सीधे जीभ पर डाल दीजिए । सिर्फ एक ही दिन मे तीन बार ले लीजिए फिर भविष्य कभी भी पथरी की शिकायत नहीं होगी ।

12.
गुर्दे में पथरी होने पर 15 दिन तक लगातार 5 - 6 ग्राम कच्चा पपीता और इतना ही गुड लेकर उसमें 4 बूंद कलौंजी का तेल मिलाकर सुबह शाम खाली पेट लें , इस दौरान पालक, टमाटर आदि का सेवन ना करें । 15 दिन के बाद पथरी चैक कराएं , पूरी सम्भावना है कि पथरी निकल चुकी होगी ।


13.
सदैव भोजन भोजन के बाद पेशाब करने की आदत डालें। इससे पथरी का डर बिलकुल भी नहीं रहता है।

राशिनुसार वृक्षों / पौधो की सेवा

No comments :



हर व्यक्ति चाहता है कि उसे जीवन में हर सुख मिले, उसकी कार्यों की सर्वत्र सराहना हो उसे हर क्षेत्र में सफलता मिले, इसके लिए वह हर जतन भी करता है । लेकिन क्या आप जानते है कि वृक्ष भी आपके मित्र आपके मददगार हो सकते है।
जी हाँ यह बिलकुल सत्य है । हिन्दु धर्म शास्त्रों के अनुसार वृक्षों में शक्तियाँ विधमान होती है जो उनकी पूजा / सेवा करने वालो की मदद भी करती है । 
शास्त्रों के अनुसार हर व्यक्ति को जीवन में वृक्ष अवश्य ही लगाने चाहिए । वृक्षों को लगाने एवं उनकी सेवा करने से उन वृक्षों में रहने वाली शुभ शक्तियाँ हमारी मित्र हमारी मददगार बन जाती है । 

ज्योतिष के अनुसार सभी राशियों के लिए अलग-अलग वृक्ष बताए गए हैं। इन वृक्षों की विधि-विधान से पूजा करने पर कुंडली में स्थित सभी नौ ग्रहों के दोष सहज ही दूर होते हैं। यदि कोई व्यक्ति इनकी विधिवत पूजा नहीं कर पाता हो तो वह प्रतिदिन केवल एक लोटा जल अपनी राशि से संबंधित वृक्ष में चढ़ाएं। ऐसा करने पर भी जातक को सकारात्मक फल प्राप्त होते है।
 इन वृक्षों / पौधों की सेवा करने के शुभ प्रभाव से व्यक्ति सदैव निरोगी, सुखी और समृद्धिशाली रहता है।ध्यान रहे कि जल चढ़ाने के लिए तांबे के लोटे का इस्तेमाल करना चाहिए। 
अपनी राशि अनुसार यहाँ पर बताये गए वृक्षों / पौधों को नित्य प्रात: एक लोटा जल अर्पित करें :-
1.मेष एवं वृश्चिक राशि :- मेष एवं वृश्चिक राशि के जातक अपनी राशि के स्वामी मंगल ग्रह के लिए  'खैर'  के वृक्ष पर नित्य एक लोटा जल अर्पित करें मंगलवार के दिन लाल कपडे में खैर की जड़ या चन्दन की लकड़ी को लाकर अपनी तिजोरी में रखे ।

2.वृषभ एवं तुला राशि :-  वृषभ एवं तुला राशि के जातक अपनी राशि के स्वामी शुक्र ग्रह के लिए  'गूलर'  के वृक्ष पर नित्य एक लोटा जल अर्पित करें ।  इस राशि के जातक शुक्रवार के दिन गूलर के पेड़ की जड़ या पलाश के फूलो को सफ़ेद कपडे में लपेटकर अपने घर/करोबार की तिजोरी में रखे ।
3.मिथुन एवं कन्या राशि :-मिथुन एवं कन्या राशि के जातक अपनी राशि के स्वामी बुध ग्रह के लिए 'अपामार्ग'  के वृक्ष पर नित्य एक लोटा जल अर्पित करें ।  इस राशि के जातक बुधवार के दिन अपामार्ग के पेड़ की जड़ या लकड़ी को अपनी तिजोरी में रखे ।

4.कर्क राशि : कर्क राशि के जातक  'पलाश' के वृक्ष पर नित्य एक लोटा जल अर्पित करें एवं पलाश के फूलो को अपनी तिजोरी में रखे । धन का आभाव नहीं रहेगा ।
5.सिंह राशि :-सिंह राशि के जातक  'आंकड़े के पौधे'  पर नित्य एक लोटा जल अर्पित करें ।  इस राशि के जातक रविवार को आंकड़े के फूलो को अपनी तिजोरी में रखे, भाग्य साथ देने लगेगा ।
6.धनु एवं मीन राशि :-धनु एवं मीन राशि के जातक 'पीपल' के वृक्ष पर नित्य (रविवार को छोड़ कर ) एक लोटा जल अर्पित करें ।  इस राशि के जातक गुरुवार के दिन पीपल या पीले चन्दन की लकड़ी को अपने धन स्थान में रखे धन का कभी भी अभाव नहीं रहेगा ।

7.मकर एवं कुंभ राशि :- मकर एवं कुंभ राशि के जातक अपनी राशि के स्वामी शनि ग्रह के लिए  'शमी'  के वृक्ष पर नित्य एक लोटा जल अर्पित करें । इस राशि के जातक काले कपडे में शमी के पेड़ की जड़ को अपनी तिजोरी में रखे, कार्यो से अवरोध दूर होने लगेंगे ।
इन्हीं पेड़ों की लकड़ियों से संबंधित राशियों के ग्रहों की शांति हेतु हवन भी करना श्रेष्ठ होता है । हमारे पूर्वजो ने पेड़ों की रक्षा के लिए पेड़ों में जल चढ़ाने की परंपरा बनाई थी ताकि धर्म के कारण लोग पेड़ों पर जल अर्पित करके उनकी सेवा और रक्षा करते रहे।
 इन पेड़ों की पूजा, इन्हे जल अर्पित करने से हमारी कई समस्याएं तो दूर होती ही हैं यह हरियाली के लिए भी फायदेमंद है। अत: हर मनुष्य को अपनी राशिनुसार वृक्षों की सेवा अवश्य ही करनी चाहिए ।